सरकार के आठ वर्ष पूरे होने पर सीएम योगी ने किया उपलब्धियों का बखान, कहा- पहले यूपी के समक्ष पहचान का संकट था

लखनऊ, जनमुख न्यूज। यूपी में भाजपा सरकार के आठ वर्ष पूरे होने पर सीएम योगी आदित्यनाथ ने आज पत्रकारों से बातचीत करते हुए अपनी सरकार की उपलब्धियों का बखान किया। और आगे की योजनाएं भी गिनार्इं।
सीएम योगी ने कहा कि आठ साल पहले उत्तर प्रदेश की अर्थव्यवस्था और इंप्रâास्ट्रक्चर की स्थिति क्या थी, यह किसी से छिपा नहीं है। पहले किसान आत्महत्या करता था। युवा के सामने पहचान का संकट था। प्रदेश में दंगे होते थे। अराजकता का माहौल था। आज प्रदेश वही है, तंत्र वही है, केवल सरकार बदलने से व्यापक बदलाव महसूस किया जा सकता है। पहले यूपी बीमारू राज्य माना जाता था। आज देश की अर्थव्यवस्था के ग्रोथ इंजन के रूप में जाना जा रहा है। आज हर सेक्टर में यूपी देश के विकास में ब्रेक थ्रू के रूप में देखा जा रहा है।
यूपी में प्रकृति की प्रचुर मात्रा में अवसर थे। हम इसको आगे बढ़ा सकते थे। २०१७ से पहले किसान आत्महत्या करता था। कृषि सेक्टर में एक वीरानी छाई हुई थी। २०१७ के बाद इस क्षेत्र में काफी बदलाव हुए हैं। आज किसानों को पीएम किसान सम्मान योजना सहित हर योजना में धनराशि डीबीटी के माध्यम से जा रही है। सिंचाई क्षेत्र में व्यापक बढ़ोतरी हुई है। २०१७ से पहले चीनी उद्योग बंदी के कगार पर था। आंदोलन होता था। गन्ना किसानों का हजारों करोड़ रुपये बकाया था। चीनी मिलें बंद होती जा रही थीं। हमने तीन नई चीनी मिलों की स्थापना की। छह नई चीनी मिलों को पुनः संचालित किया। ३८ मिलों का विस्तार किया। सीएम ने आगे कहा कि २०१७ से अब तक दो लाख ८० हजार करोड़ का गन्ना मूल्य भुगतान किया गया। पिछली सरकारों के २२ वर्ष के कुल भुगतान से ६० हजार करोड़ से ज्यादा भुगतान हमने आठ वर्ष में किया।
२०१७ से पहले हर जगह बिचौलियों का बोलबाला था। २०१७ से २०२३ तक गेंहू क्रय का भुगतान हमने ढाई गुना ज्यादा (तीन हजार ४२४ करोड़) भुगतान किया। प्रदेश में निराश्रित गोवंश के लिए ७७०० से अधिक गो आश्रय स्थल में १२ लाख ५० हजार से अधिक गोवंश का संरक्षण सरकार स्वयं कर रही है। ।
२०१७ के पहले कानून व्यवस्था का संकट था। युवा के सामने पहचान का संकट था। महाकुंभ में बेहतर कानून व्यवस्था का उदाहरण दिखा। ४५ दिनों के आयोजन में कोई अपराध, लूट, छेड़छाड़, अपहरण कोई भी घटना नहीं हुई। आने वाले श्रद्धालुओं के मन मे कोई असंतोष का भाव नहीं दिखा।
सीएम ने कहा कि प्रदेश वही है। आठ वर्ष में सरकार ने पुलिस बल को एक सिस्टम के साथ जोड़ा। २०१७ में हमारी सरकार आने पर पुलिस बल में डेढ़ लाख से ज्यादा पद खाली थे। सरकार की नीयत पर जनता और न्यायालय को संदेह था। सरकार ने एक लाख ५६ हजार पुलिस कार्मिकों की भर्ती की। साथ ही मौजूदा समय ने ६० हजार २०० से अधिक नए पुलिस कार्मिकों की भर्ती प्रक्रिया पूरी की। उन्हें जल्दी ट्रेनिंग मिलेगी।
यूपी ने गरीब कल्याण क्षेत्र में लंबी छलांग लगाई है। १५ करोड़ प्रदेशवासी मुफ्त राशन प्राप्त कर रहे हैं। ५६ लाख जनमानस को आवास की सुविधा दी गई। एक करोड़ छह लाख महिला वृद्धजनों को पेंशन मिल रही है। नए वित्त वर्ष में हम ज़ीरो पावर्टी स्कीम लॉन्च करने जा रहे हैं। पहले गड्ढे से प्रदेश की पहचान होती थी। आज आप गूगल करेंगे तो सबसे ज्यादा एक्सप्रेसवे वाले प्रदेश के रूप में यूपी का नाम आता है।
२०१७ से पहले यूपी डेढ़ एक्सप्रेसवे का राज्य था। लखनऊ में आधी अधूरी मेट्रो थी। आज हम स्टेट डेवलपमेंट रीजन सृजित करने जा हैं। १९४७ से २०१७ तक एक लाख २८ हजार ४९४ मजरों तक बिजली पहुंचाई गई थी। पिछले आठ वर्ष में यह संख्या बढ़कर दो लाख ४९ हजार ८१८ मजरों तक हो गई है।
यूपी निवेश में पूंजी को सुरक्षित रखने वाला राज्य है। आने वाले समय में यूपी निवेशकों में एक ड्रीम डेस्टिनेशन बनने की ओर है। आजादी से २०१७ तक सिर्फ १२ मेडिकल कॉलेज थे। आठ वर्षों में ८० मेडिकल कॉलेज बने। इसमें ४४ सरकारी व ३६ निजी मेडिकल कॉलेज बने।

