रुपये के बजाय अमेरिकी डॉलर लेकर आएं पाकिस्तान की पंजाब सरकार का भारतीय सीखों को सलाह

नई दिल्ली,जनमुख न्यूज । पाकिस्तान के पंजाब प्रांत की सरकार ने सोमवार को देश की यात्रा करने के इच्छुक भारतीय सिखों को भारतीय मुद्रा के बजाय अमेरिकी डॉलर ले जाने की सलाह दी। पंजाब के पहले सिख मंत्री रमेश सिंह अरोड़ा ने यहां कहा कि हमें कई शिकायतें मिली हैं कि अपने पवित्र स्थानों के लिए पाकिस्तान जाने वाले भारतीय सिखों का शोषण मौजूदा विनिमय दर से काफी कम (राशि) देकर किया जाता है। अरोड़ा, जो पाकिस्तान सिख गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी के प्रधान (अध्यक्ष) भी हैं। भारत से सिखों के शोषण के बारे में कई शिकायतें मिलने के बाद सलाह जारी की। मंत्री ने यह भी कहा कि यहां आने वाले भारतीय सिखों को समूह नेताओं को यहां सुविधाओं के लिए कोई अतिरिक्त राशि नहीं देनी चाहिए। मंत्री ने कहा कि पहले सिख गुरु, गुरु नानक देव की ५५५वीं जयंती पर उत्सव में भाग लेने के लिए १४ नवंबर को बड़ी संख्या में भारतीय सिख यहां आने वाले हैं। पिछले साल, लगभग ३,००० भारतीय सिख इस कार्यक्रम में भाग लेने के लिए वाघा सीमा के माध्यम से यहां पहुंचे थे।कई सिख पाकिस्तान के करतारपुर मंदिर को उस स्थान के रूप में देखते हैं जहां उनका धर्म शुरू हुआ था: इसके संस्थापक, गुरु नानक का जन्म १४६९ में पूर्वी पाकिस्तानी शहर लाहौर के पास एक छोटे से गांव में हुआ था। लेकिन वहां पहुंचने के लिए यात्रियों को पहले मुश्किल से मिलने वाला वीजा लेना होगा। लाहौर या किसी अन्य प्रमुख पाकिस्तानी शहर की यात्रा करनी होगी और फिर गांव तक ड्राइव करना होगा।जो भारतीय सीमा से सिर्फ ४ किमी (२-१/२ मील) दूर है।

